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संयुक्त शिक्षक संघ के प्रांताध्यक्ष केदार जैन ने मुख्यमंत्री को लिखा पत्र, कहा- 5 प्रतिशत डीए स्वीकार योग्य नहीं | Newsforum

रायपुर | महंगाई भत्ते को लेकर आंदोलन कर रहे संयुक्त शिक्षक संघ ने बयान जारी कर मुख्यमंत्री द्वारा बढ़ाए गए 5 प्रतिशत डीए को स्वीकार योग्य नहीं बताया है। प्रांताध्यक्ष केदार जैन ने कहा कि छत्तीसगढ़ में जुलाई 2019 से 16 प्रतिशत महंगाई भत्ता लंबित है। प्रदेश में भारतीय प्रशासनिक सेवा के अधिकारियों व बिजली कर्मचारियों को 28 प्रतिशत महंगाई भत्ता दिया जा रहा है जबकि बाकी अन्य को सिर्फ 12 प्रतिशत महंगाई भत्ता दिया जाना सौतेला व्यवहार है। प्रांताध्यक्ष ने कहा कि गंगाजल लेकर कसम खाते हुए कर्मचारी वर्ग से जो वायदा किया गया था सरकार आज उसे अनदेखा कर रही है।

 

प्रांताध्यक्ष केदार जैन ने बताया कि छत्तीसगढ़ में कर्मचारियों का जुलाई 2019 से 16 प्रतिशत महंगाई भत्ता लंबित है। केंद्र सरकार सहित ज्यादातर राज्य सरकार 28 प्रतिशत महंगाई भत्ता प्रदान कर रहे हैं।जिनमे से कई राज्य छत्तीसगढ़ से औसतन कमजोर है लेकिन छत्तीसगढ़ में आज भी मात्र 12 प्रतिशत महंगाई भत्ता दिया जा रहा है। देश में महंगाई का मानक एक होता है और यह कर्मचारियों का मौलिक अधिकार है। 3 सितंबर 2021 को प्रदेश के समस्त अधिकारियों एवं कर्मचारियों के द्वारा लंबित 16 प्रतिशत महंगाई भत्ता के मुख्य मांग को लेकर राज्यव्यापी आंदोलन किया गया। जिसका व्यापक असर रहा, जिसके बाद मुख्यमंत्री भूपेश बघेल द्वारा मात्र 5 प्रतिशत डीए प्रदान करने का घोषणा किया गया।

 

इस संबंध में छत्तीसगढ़ प्रदेश संयुक्त शिक्षक संघ के प्रांताध्यक्ष केदार जैन ने मुख्यमंत्री को मार्मिक पत्र प्रेषित करते हुए आग्रह किया है कि कोरोना काल में सभी कर्मचारियों ने अपनी जान जोखिम में डालकर अपने कर्तव्यों का निष्ठापूर्वक एवं ईमानदारी से निर्वहन किया। छत्तीसगढ़ राज्य में ही भारतीय प्रशासनिक सेवा के अधिकारियों एवं बिजली विभाग के कर्मचारियों को 28 प्रतिशत महंगाई भत्ता दिया जा रहा है जबकि बाकी अन्य कर्मचारियों को सिर्फ 12 प्रतिशत महंगाई भत्ता दिया जाना स्पष्ट रूप से सौतेला व्यवहार है।

 

सरकार के द्वारा अपने जन घोषणा पत्र में गंगाजल लेकर कसम खाते हुए कर्मचारी वर्ग से जो वायदा किया गया था उसे आज अनदेखा किया जा रहा है जो दुखद हैं। साथ ही सरकार का दायित्व है कि वह अपने सभी कर्मचारियों से समान व्यवहार करें लेकिन यहां दोहरा मापदंड अपनाया जाना पूर्णतः अनुचित हैं। केदार जैन ने कहा कि 5 प्रतिशत डीए को किसी भी स्थिति में स्वीकार नहीं किया जा सकता। संघ इस पर आपत्ति दर्ज करते हुए मांग करता है कि लंबित 16 प्रतिशत महंगाई भत्ता का आदेश शीघ्र जारी किया जाए। छत्तीसगढ़ के कर्मचारी, अधिकारी आशान्वित हैं।

 

यह जानकारी संघ के प्रांतीय मीडिया प्रभारी मुकुंद उपाध्याय, अमित दुबे एवं कमलेश गावड़े द्वारा प्रदान किया गया।


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