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अलबेली दिल्ली | ऑनलाइन बुलेटिन

©राजेश श्रीवास्तव राज

परिचय– गाजियाबाद, उत्तर प्रदेश.


 

 

 

मैं भारत की केंद्र बिंदु

सब पर शासन करती

हुकुम चला,देश चलाती

मैं ही अलबेली दिल्ली हूं।

 

कितने शासक चले गए

कितनों ने कुर्बानी भी दी

न मोह मिटा,न मंशा ही

मैं ही अलबेली दिल्ली हूं।

 

सिक्के,झंडे,भाषा बदली

सदियां बीती,सत्ता बदली

न बदल सका यहां देखो

मैं ही अलबेली दिल्ली हूं।

 

लाल किले से रायसीना हिल्स,

सबको मैंने परखा,आज़माया

खान-पान,वस्त्र अपनाने वाली

मैं ही अलबेली दिल्ली हूं।

 

संस्कृति,कला को अपनाकर

विश्व में अपनी कीर्ति बनाया

वंदे भारत,हर भारतवासी मेरा

मैं ही अलबेली दिल्ली हूं।

 


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