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आप तो आप है | ऑनलाइन बुलेटिन

©गुरुदीन वर्मा, आज़ाद

परिचय– गजनपुरा, बारां, राजस्थान


 

 

आप तो आप है लेकिन, आप हम हो नहीं सकते।

आप की तरहां मशहूर, हम यहाँ हो नहीं सकते।।

आप तो आप है————————–।।

 

 

आप की तरहां यहाँ, और क्या जानेंगे एक दिल को।

आपकी तरहां दिलदार, कभी हम हो नहीं सकते।।

आप तो आप है————————–।।

 

 

महकने लगता है चमन, आपको देखकर आते।

ऐसी रौनक चेहरों पर, यहाँ हम कर नहीं सकते।।

आप तो आप है————————–।।

 

 

आपकी करते हैं पूजा, दीवाने मानकर मूरत।

इतनी मोहब्बत लोगों से, कभी हम कर नहीं सकते।।

आप तो आप है————————।।

 

 

जिंदा हो जाते हैं मुर्दे, आवाज वो आपकी सुनकर।

ख्वाब जीने का औरों को, ऐसे हम दे नहीं सकते।।

आप तो आप है —————————–।।

 

 

हमको भी हो गई मोहब्बत, आपके इस शहर से।

हमें यकीन है कि आप, यह शहर छोड़ नहीं सकते।।

आप तो आप है —————————–।।


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