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मुमताज की नगरी बुरहानपुर में ‘भारती’ को मिला शाहजहां, सरप्राइज गिफ्ट देने के लिए 5 साल में जुटाई 50 हजार चिल्हर | ऑनलाइन बुलेटिन

भोपाल | [ मध्यप्रदेश बुलेटिन ] | मध्य प्रदेश के बुरहानपुर में शाहजहां की बेगम मुमताज का निधन हुआ था और उन्हें यहीं दफनाया गया था। जिनकी याद में शाहजहां ने आगरा में ताजमहल बनवाया था, उसी शहर में एक और प्रेम कहानी सामने आई है।

 

शहर के शिकारपुरा थाना क्षेत्र के महाजनपद निवासी दीपक घोड़से ने अपनी पत्नी भारती के प्रेम में उसे जन्मदिन पर सरप्राइस गिफ्ट देने का प्लान किया। मगर इस सरप्राइज प्लान को अंजाम देने में उसे पांच साल लग गए क्योंकि उसे तोहफा देने के लिए राशि जमा करने में इतना समय लग गया। दीपक घोडसे गली-गली दूध बेचता है जिसमें मिलने वाली चिल्हर को वह इकट्ठा कर रहा था। उसी चिल्हर से दीपक पत्नी भारती को सरप्राइज गिफ्ट देना चाहता था।

 

मध्य प्रदेश के बुरहानपुर में एक पति ने अपनी पत्नी को जन्मदिन पर सरप्राइज गिफ्ट के लिए पांच साल तक इंतजार किया। उसने पांच साल तक चिल्हर जमा की और जब 50 हजार रुपए जमा हो गए तो बोरियों में भरकर ई-बाइक शोरूम पहुंच गया। शोरूम संचालक ने ई-बाइक की चाबी दंपति को सौंपकर उन्हें शुभकामनाएं दीं।

 

बोरियों में जमा की चिल्हर

 

दीपक ने उपहार देने के लिए पांच साल तक चिल्हर को जमा किया। इस बार जन्मदिन पर जब उसके पास चिल्हर की 50 हजार रुपए की राशि जमा हो गई तो वह ई-बाइक शोरूम के संचालक किशोर कामठे के पास पहुंचा। उसने पत्नी के जन्मदिन पर सरप्राइज गिफ्ट की बात बताई लेकिन अपनी परेशानी भी बताई कि उसके पास नकद के रूप में नोट नहीं चिल्हर है तो वे सोच में पड़ गए। मगर पत्नी के प्रति दीपक के प्रेम और भावना देखकर उन्होंने ई-बाइक वे देने को तैयार हो गए।

 

ई-बाइक देखकर पत्नी भी खुश

 

शोरूम संचालक ने चिल्हर लेकर ई-बाइक देने पर हां कर ली तो दीपक ने पहले उन्हें 5 बोरी में भरी चिल्हर गिनाई। 2 घंटे में चिल्हर की गिनती होने के बाद दीपक अपनी पत्नी को शोरूम लेकर पहुंचा और बताया कि वह जन्मदिन में ई-बाइक गिफ्ट कर रहा है तो वह भी अचंभित रह गई। पत्नी की खुशी का ठिकाना नहीं रहा। पत्नी को भी इस बारे में जानकारी नहीं थी कि पति पांच साल से जो चिल्हर जमा कर रहा है, वह उसके गिफ्ट के लिए थी।


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