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संयुक्त व्यापार ग्रुप की वेबिनार में युफ्लेक्स, पतंजलि, मिलाक्रान इंडिया समेत विभिन्न कंपनियों के शीर्ष अधिकारियों ने की भागीदारी | Onlinebulletin.in

नई दिल्ली | Onlinebulletin.in | Onlinebulletin | कोरोनाकाल के बाद भारतीय प्लास्टिक पैकेजिंग इंडस्ट्री अपना एक नया रास्ता खोज सके इस आशय को लेकर गत दिनों व्यवसायिक पत्रिका संयुक्त व्यापार और प्लास्टिक्स टुडे द्वारा आयोजित तथा इंडियन प्लास्टिक इंस्टीट्यूट द्वारा समर्थित प्लास्टिक पैकेजिंग में आगे की राह नामक ऑनलाइन परिचर्चा संपन्न हुई। कार्यक्रम का संचालन इंडियन प्लास्टिक इंस्टीट्यूट की दिल्ली इकाई के चेयरमैन राकेश शाह ने किया। कार्यक्रम में करीब 400 उद्यमियों ने पंजीकरण किया तथा 84 उद्यमियों ने अपनी भागीदारी की। वाजा इंडिया के संस्थापक शिवेंद्र प्रकाश द्विवेदी ने Onlinebulletin.in (ऑनलाइन बुलेटिन) को बैठक के बारे में विस्तार से जानकारी दी।

 

इस परिचर्चा में MILACRON इंडिया प्रा.लिमिटेड के मैनेजिंग डायरेक्टर शिरीष दिवगी, TERRASOUL पॉलीमर्स प्राइवेट लिमिटेड के मैनेजिंग डायरेक्टर सुबोध गुप्ता, राजू इंजिनियर्स लिमिटेड के प्रेसिडेंट सुनील जैन, यूफ्लेक्स लिमिटेड के ज्वाइंट प्रेसिडेंट जीवाराज पिल्लई, पतंजलि आयुर्वेद लिमिटेड (फूड डिवीजन) के चीफ जनरल मैनेजर सुमन कुमार झा मौजूद थे। इस कार्यक्रम में विशेष आमंत्रित वक्ता के रूप में रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड के पूर्व सीनियर वाइस प्रेसिडेंट स्वप्न कुमार रे, (सचिव- इंडियन सेंटर फॉर प्लास्टिक इन द एनवायरमेंट) ने अपनी बात रखी।

 

कार्यक्रम की शुरुआत वाजा इंडिया के संस्थापक शिवेंद्र प्रकाश द्विवेदी ने किया। शिवेंद्र ने कहा कि इस ऑनलाइन (Online) परिचर्चा का उद्देश्य कोई व्यक्तिगत स्वार्थ नहीं, बल्कि इंडस्ट्री की भलाई है। यदि इंडस्ट्री बढ़ेगी तो देश बढ़ेगा और देश बढ़ेगा तो हम सब आगे बढ़ेंगे, इसलिए परिचर्चा आयोजित हुई कि कोरोना काल के बाद भारतीय प्लास्टिक पैकेजिंग इंडस्ट्री अपना एक नया रास्ता खोज सके।

 

परिचर्चा में इंडियन प्लास्टिक इंस्टीट्यूट के गवर्निंग काउंसिल चेयरमैन पंकज शाह ने कहा कि ऐसी ऑनलाइन परिचर्चा ही इंडस्ट्री को सही दिशा दे सकती हैं। हम संयुक्त व्यापार व प्लास्टिक टुडे के साथ मिलकर आगे भी इस तरह की तमाम परिचर्चा करने की इच्छा रखते हैं। कार्यक्रम का संचालन इंडियन प्लास्टिक इंस्टीट्यूट की दिल्ली इकाई के चेयरमैन राकेश शाह ने किया। कार्यक्रम में करीब 400 उद्यमियों ने पंजीकरण किया तथा 84 उद्यमियों ने अपनी भागीदारी की।


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