अग्निपथ | Onlinebulletin
©हरीश पांडल, बिलासपुर, छत्तीसगढ़
मेहनत से तू
डरना मत
संघर्षों से
हटना मत
जान लगा दे
या जाने दे
दो राहों पर
चलना मत
जान भले ही जाये
कर्त्तव्यों से
हटना मत
तू जिस राह
पर चल रहा है
वह है, अग्निपथ
अग्निपथ
महत्व समझ जा
समय का
समय को नष्ट
करना मत
आगे बढ़ अपनी
एकता दिखा
साथियों के सोये
हुए विचारों को जगा
तू एक सामने चल
लाइन लग जायएगा
तेरे पीछे
आजादी का
सपना सबके
आंखों में भींचे
खुद को अकेला
समझना मत
मेहनत से तू
डरना मत
तू जिस राह पर
चल रहा है
वह है, अग्निपथ
अग्निपथ
कोयला घिसकर
ही हीरा बनता है
सालों-साल
समय लगता है
उसको अपनी
चमक बनाने में
मुझको भी
समय लगेंगे
सोते कौम
जगाने में
बाधाएं राहों में
बहुत हैं तेरे
फिक्र ना कर
शीघ्र, आएंगे
साथी बहुतेरे
तू ले अपने
कर्मों से ले शपथ
अग्निपथ, अग्निपथ
तू जिस राह पर
चल रहा है
वह है अग्निपथ
अग्निपथ
छोड़ दे अपना स्वार्थ
कर तू परमार्थ
एक दिन तू
बन जाएगा
सब दोहों का अर्थ
तू उठा अपनी
जिम्मेदारी
राह में जितने भी
लाचारी
सारी बाधाएं
जल जाएंगी
क्योंकि तेरे
राह है
अग्निपथ
अग्निपथ …