.

सत्य मिला मुझे | newsforum

©श्याम निर्मोही, बीकानेर, राजस्थान

परिचय : एमए (हिंदी), बीएड, यूजीसी नेट, प्रकाशन व प्रसारण- विभिन्न पत्र-पत्रिकाओं में रचनाएँ प्रकाशित। ऑनलाइन काव्य पाठ की प्रस्तुति। दूरदर्शन पर परिवार नियोजन पर आधारित टेलीफिल्म ‘पहल’ में गीत लेखन, आकाशवाणी प्रसार भारती केंद्र बीकानेर से साहित्यिक वार्ता का प्रसारण। पुस्तक- श्रीहणुत अमृतवाणी, सुलगते शब्द, सम्मान- भारतीय दलित साहित्य अकादमी द्वारा डॉ. अम्बेडकर राष्ट्रीय फेलोशिप सम्मान 2017, स्वर्ण भाप व महिला एवं बाल विकास विभाग मंत्रालय भारत सरकार द्वारा डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम राष्ट्रीय पुरस्कार 2020, स्वर्ण भाप और भारतीय कला संस्कृति व भाषा विज्ञान विभाग, दिल्ली द्वारा राष्ट्रीय हिंदी रत्न सम्मान 2020 से सम्मानित।

 


 

 

सत्य मिला मुझे

सड़क किनारे

तंगहाल – फटेहाल

गिड़गिड़ाते हुए

भूख से बिलबिलाते हुए …

सत्य मिला मुझे

सड़क किनारे

हताश – निराश

श्रमकण बहाते हुए

पसीने में नहाते हुए …

सत्य मिला मुझे

सड़क किनारे

भागते – हांफते

गाड़ी का शीशा बजाते हुए

मुंह से गुबारे फुलाते हुए …

सत्य मिला मुझे

सड़क किनारे

हाल – बेहाल

धूप में झुलसते हुए

छांव को तरसते हुए….

सत्य मिला मुझे

सड़क किनारे

परेशान – बेजान

सर्दी में ठिठुरते हुए

फटी चद्दर में सिकुड़ते हुए.….

सत्य मिला मुझे

सड़क किनारे

तहस – नहस

जीवन से जूझते हुए

कूड़े में रोटी ढूंढते हुए …


Back to top button